नबीए करीम सल्लल्लाहु अलैहि वसल्लम कि हयाते तय्यबा :-

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 नबीए करीम सल्लल्लाहु अलैहि वसल्लम कि हयाते तय्यबा :- ✏ नामे मुबारक :- 🎲मुहम्मद (दादा ने रखा) 🎲अहमद (वालिदा ने रखा) 
✏पैदाइश तारीख :- 🎲12 रबीउल अव्वल सन 570 ई.
✏पैदाइश दिन :- 🎲पीर। 
✏पैदाइश का वक़्त :- 🎲सुबह सादिक़। 
✏पैदाइश का शहर :- 🎲मक्का शरीफ। 
✏दादा का नाम :- 🎲शैबा-अब्दुल मुत्तलिब (कुन्नियत-अबुल हारिस) 
✏दादी का नाम :- 🎲फातिमा। 
✏वालिद का नाम :- 🎲अब्दुल्लाह (कुन्नियत-ज़बीह) ✏वालिदा का नाम :- 🎲बीबी आमना (कुन्नियत-अबुल क़ासिम) 
✏नाना का नाम : 🎲वाहाब बिन अब्दे मुनाफ। 
✏खानदान :- 🎲क़ुरैश। 
✏दूध पिलाने वाली ख़ादिमा :- 🎲उम्मे एयमन. हलीमा सादिया। 
✏वालिद का इंतेक़ाल :- 🎲आपकी पैदाइश से पहले। ✏वालिदा का इंतेक़ाल :- 🎲जब आपकी उम्र 6 साल कि थी (आपकी वालिदा का इंतेक़ाल अब्वा नाम कि जगह पर हुवा, जो मक्का और मदीना के बीच में है) 🎲वालिद और वालिदा के इंतेक़ाल के बाद। 
✏आपकी परवरिश :- 🎲दादा अब्दुल मुत्तलिब ने कि दादा के इंतेक़ाल के वक़्त आपकी उम्र 8 साल थी। 
✏दादा ने परवरिश की :- 🎲2 साल। 
✏दादा के बाद आपकी परवरिश की :- 🎲चाचा अबु तालिब ने की। 
✏आपके लक़ब :- 🎲अमीन। (अमानतदार) और सादिक़। (सच्चा) 
✏पहला तिजारती सफ़र :- 🎲मुल्के शाम। 
✏पहला निकाह :- 🎲हज़रते खदीजा रदियल्लाहो तआला अन्हा। (मक्का के लोग ताहिरा नाम से पुकारते थे) 
✏निकाह के वक़्त उम्र :- 🎲25 बरस। 
✏हज़तरे खदीजा रदियल्लाहु तआला अन्हा कि उम्र :- 🎲40 बरस। 
✏ऐलाने नुबुव्वत के वक़्त उम्र :- 🎲40 बरस। 
✏पहली वही कि जगह :- 🎲ग़ारे हिरा (ग़ारे हिरा जबले नूर पहाड़ पर है) 
✏वही लाते थे :- 🎲हज़रते जिब्रईल अलैहिस्सलाम। ✏पहला नाज़िल लफ्ज़ :- 🎲इक़रा (पढ़ो) 
✏सबसे पहले औरतो में इस्लाम क़ुबूल किया :- 🎲हज़रते खदीजा रदियल्लाहु तआला अन्हा ने। 
✏सबसे पहले मर्दो में इस्लाम क़ुबूल किया:- 🎲हज़रते अबु बक़र सिद्दीक़ रदियल्लाहो तअला अन्हु ने। 
✏सबसे पहले बच्चो में इस्लाम क़ुबूल किया:- 🎲हज़रते अली रदियल्लाहो तअला अन्हु ने। 
✏आप व आप के साथी बैठा करते थे :- 🎲दारे अकरम (दारे अकरम सफा पहाड़ पर है) 
✏पसीना मुबारक :- 🎲मुश्क़ से ज्यादा खुशबूदार था। आप जिस रास्ते से गुज़रते थे लोग पुकार उठते कि यहाँ आप का गुज़र हुवा है।
✏साया :- 🎲आप का साया नही था। 
✏कद:- 🎲न ज्यादा लम्बे न कम दरमियानी था। 
✏भवे :- 🎲मिली हुई थी। 
✏बाल :- 🎲घने और कुछ घुमाव दार थी। 
✏आँखे:- 🎲माशा अल्लाह बढ़ी और सुर्ख डोरे वाली। ✏कुफ्फार मक्का ने बोकात किया:- 🎲नुबुव्वत के ऐलान के 9 वे साल में। 
✏ताइफ़ का सफ़र :- 🎲शव्वाल सन 10 नबवी। 
✏हज़रते खदीजा व अबु तालिब का इंतिक़ाल :- 🎲ऐलाने नुबुव्वत के दसवे साल मे। (इस साल को अमूल हुजन भी कहा जाता है) 
✏हिजरत :- 🎲ऐलाने नुबुव्वत के 13 साल बाद। ✏हिजरत के वक़्त उम्र शरीफ :- 🎲53 साल। 
✏मक्का से हिजरत :- 🎲मदीना कि जानिब। 
✏हिजरत के साथी :- 🎲हज़रते अबु बक़र सिद्दीक़ रदियल्लाहो तअला अन्हु। 
✏हिजरत के वक़्त आपने पनाह ली:- 🎲ग़ारे सौर यहाँ आपने तीन राते गुज़ारी। 
✏इस्लामी तारीख का आगाज़ :- 🎲आपकी हिजरत से। ✏पहली जंग :- 🎲गजवाये बद्र इसमें मुसलमानो कि तादाद 313 और काफिरो कि 1000 थी। 
✏हज़रते ज़ैनब से निकाह:- 🎲हिजरत के पांचवे साल। ✏आपने निकाह किये :- 🎲ग्यारह। (इतने निकाह आपने इस्लाम और इस्लाम कि तालीमात को फैलाने के लिए किये) ✏दन्दाने मुबारक शहीद हुवे :- 🎲जंगे उहद में। 
✏सबसे बढे दुश्मन :- 🎲अबु लहब, अबु जहल।  
✏पर्दा के वक़्त उम्र शरीफ :- 🎲63 बरस। 
✏पर्दा किया :- 🎲मदीना मुनव्वरा में। 🎲एक मर्तबा दुरूदे पाक का नजराना पेश कीजिये। 🎲अगर आपकी खुबियां बयान करे तो ज़िन्दगी कम है। 🎲लेकिन मैने आप तक काफी चीज़े पहुंचायी है। 🎲इसे खूब शेयर करे और मेसेज भी करे। 🎲हो सके तो सेव करके महफूज़ रखले ये हमारे आक़ा के मुताल्लिक़ है 
✏ब:हवाला:- (सीरतनःनबी- सल्लल्लाहु अलैहि वसल्लम) 🌼 ऐ मेरे परवरदिगार पूरी दुनिया मे जीतने लोग वफात पा चुके हैं उनकी मग्फिरत फरमा . . आमीन 🌼 उन्हे कब्र के अजाब से महफूज फरमा . . . आमीन जो बीमार है या परेशान है तू अपने करम से माफ फरमा . . . आमीन 🌼 ओर उनकी बीमारी ओर परेशानी को दूर फरमा. . . आमीन 🌼 और ऐ मेरे परवरदिगार जिसने मुझे ये दुआ भेजी हे उसके तमाम गुनाहो को माफ फरमा. . . . . आमीन 🌼 और हर काम मे कामयाबी अता फरमा . . . आमीन 🌼 और उसके नसीब खोल दे. . आमीन 🌼 अपने लिए जरूर दुआ करवाए ना जाने किसकी जुबान से आपकी तकदीर सवर जाए आपकी खास दुआऔ में गुनाहगार को याद रखना ! 🌹🌹🌹 Shah Alam Razvi 🌹🌹🌹

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